मंगलवार, अक्टूबर 06, 2009

सुनकर वे चकरा जायेंगे


नमस्कार ! मंगलमयी चिट्ठा चर्चा में आपका हार्दिक स्वागत है ।

आप पूछें उससे पहले ही बता देते हैं कि आज हम घर पर अकेले बोर हो रहे हैं । इसीलिए एक
कार्टून और धर्म-विषयक एक भाषण अपने ब्लॉग पर चढ़ाकर भी मन नहीं भरा तो चिट्ठा चर्चा पर कब्जा कर लिया ।

वैसे धर्म विषयक भाषण देने वाले हम अकेले नहीं हैं । मानो पूरा ब्लॉग जगत ही धर्ममय हो गया है । दक्षिण-भारत पानी की बाढ़ से परेशान है और हिन्दी ब्लॉगिंग धार्मिक लेखों से ।

धीरू सिंह भारी ब्लॉगर हैं लिहाजा इनकी बात भी भारी होती है ।
कहते हैं :
बोलने और लिखने की आज़ादी का दुरूपयोग हो रहा है । आइये इसकी भर्त्सना करे हो सके तो इन महानुभावो का सामाजिक वहिष्कार करे ।
वैसे जिन्हें महानुभाव मानें उनका बहिष्कार करें यह थोड़ा अजीब लगता है ना !

जी के अवधिया धान के देश में ब्लॉग लिखते हैं । इनका ब्लॉग भारत में भी खूब पढ़ा जाता है । आज हमने इन्हें कांग्रेस पर मुस्लिम तुष्टिकरण का आरोप लगाते हुए धर लिया ।
कहते हैं :
कांग्रेस के इतिहास को देखें तो स्पष्ट रूप से परिलक्षित होता है कि कांग्रेस ने सदा ही मुस्लिम तुष्टिकरण को बढ़ावा दिया है।
ज्ञानदत्त पाण्डेय जी भी आज हिन्दू धर्म के रहस्यों की खोज करते दिखाई दिये । खोज तो पहली पोस्ट से ही रहे थे लेकिन रात में शायद अँधेरे में न खोज पाये इसीलिए सुबह फिर खोजने लगे । कहते हैं, कहते नहीं बल्कि सोचते हैं :

इस देश में एक आस्तिक विरासत, ब्राह्मणिक भूत काल का अनजाना गौरव, भाषा और लोगों से गहन तौर पर न सही, तथ्यात्मक खोजपरख की दृष्टि से पर्याप्त परिचय के बावजूद कितना समझता हूं हिन्दू धर्म को। शायद बहुत कम।
कुछ लोग हर चीज को अस्त-व्यस्त रख देते हैं । पर पण्डित डी के शर्मा ऐसे नहीं हैं इसीलिए धर्म को इतिहास से अलग रखना चाहते हैं । कहते हैं :

मानव जाति के इतिहास को धर्म का रूप क्यों ????
प्रश्न एक, और प्रश्नवाचक चिन्ह चार चार ? शायद उत्तर देने वाले को पहले ही दवाब में लाने के लिए ऐसा किया जाता होगा ।

सौरभ आत्रेय हिन्दू धर्म के पतन को मनुष्यता के पतन की संज्ञा दे रहे हैं । अपनी बात शुरू करते हुए
कहते हैं :

आज राष्ट्र विषम परिस्थितियों से गुजर रहा है । स्थिति इतनी विनाशकारी है की कोई कल्पना भी नहीं कर सकता है। आतंकवाद ,भ्रष्टाचार, अंधविश्वास, भाषावाद, जातिवाद ,क्षेत्रवाद, अलगाववाद, मतान्तरण,मतान्धता, गरीबी, भुखमरी, बेरोजगारी, अशिक्षा, परिवर्तित शिक्षा,असीमित मुस्लिम तुष्टिकरण आदि अनेकों समस्याओं में से कोई भी ऐसी समस्या नहीं है जो इस भारत वर्ष की भूमि पर न हो।
हमें लगता है, ऐसे जिम्मेदार लोगों के कारण ही शायद अब तक भारत में हिन्दू धर्म का पतन नहीं हो सका और इसी कारण मानवता भी बची हुई है अन्यथा शीघ्र पतन हो गया होता ।

उधर गिरीश बिल्लोरे मुकुल जी ने पूछा है कि :

सलीम खान को प्रतिबंधित कर देना चाहिए..?

बहस अभी जारी है । धार्मिक प्रवृत्ति के लोगों द्वारा बहस में बढ़ चढ़कर हिस्सा लिए जाने की खबरें आपने टीवी पर देख ही ली होंगी । बवाल जी ने सलीम खान को कहा है कि वे घबराएं नहीं जल्दी ही बवाल जी आ रहे हैं । बहस के मूल में सूअर का गोश्त बताया जाता है ।

विनय पत्रिका में बोधिसत्व जी( भानी के पिता जी) ने कृष्ण को
खानदानी चोर कह डाला है मगर प्यार से । कहते हैं :
श्री कृष्ण को चोर वे ही कहते हैं जो उन्हें बेहद प्यार करते हैं। तभी तो राजस्थानी के एक कवि ने उन्हें बड़े गौरव के साथ चोर कह कर पुकारा है कि आओ और मेरे अवगुन चुराओ।
किसी ने सही कहा है : जाट से राम राम कल्लो, और बीच खेत में से पल्लो

अब आगे बढ़ें धर्म से सब काम नहीं होगा । हिन्दी ब्लॉगिंग में टिप्पणी को देवी का दर्जा हासिल है । इसकी महिमा का बखान हर नया पुराना ब्लॉगर मौका पाकर करता रहता है . लोग अपने ब्लॉग पर टिप्पणी माँगने में सकुचाते हैं और कहते हैं कि :

टिप्पणियां काश मिलती खूब सारी.......................

इसे ठण्डी आह के साथ पढ़ेंगे तो अच्छा रहेगा । वैसे हम तो सीधे ही टिप्पणी माँग लेते थे शुरुआती दिनों में, कि : मालिक कुछ टिप्पणी भेज दें !

ऐसे में यहाँ माँगने से टिप्पणी मिल भी जाती हैं । मिथिलेश जी को टिप्पणी मिलने का सिलसिला जारी है । हो सके तो आप भी दे आइए । कुछ लोगों ने तो सहर्ष दे दी । कुछ रुआँसे हो गए । कहने लगे, "दे तो रहा हूँ पर उधार है ।"

महफूज अली ने आज खुलासा किया कि उन्हें जीतने की आदत पड़ गई है . बस फिर क्या था चारों ओर से लोग उन्हें हराने की कोशिश में जुट गए . पर वे हारे तो बवाल जी के प्यार से , कहने लगे :
bawaal bhai........ saadar namaskar...... haan! mere bhi samjhne mein thodi
galti ho gayi..... mujhe muaaf kariyega.........
चोरी की रिपोर्ट लिखाने के लिए एक जज को अदालत की शरण लेनी पड़ी

गुजरात के पावागढ़ में काली मंदिर के दर्शन को आए छत्तीसगढ़ के एक जज को उस समय स्थानीय अदालत की मदद लेनी पड़ी, जब उनका सामान चोरी हो जाने के बाद पुलिस अधिकारी ने मामला दर्ज करने से मना कर दिया। छत्तीसगढ़ में कोरिया जिले की एक अदालत के जज प्रदीप कुमार नारायण शंकर दवे (51) वडोदरा से एक निजी वाहन से सितम्बर के अंतिम सप्ताह को सपरिवार पावागढ़ आए थे। मंदिर पहुंचने पर उन्होंने अपना बैग गुम पाया। बैग में हैंडी-कैम व मोबाइल सहित करीब 47,500 रुपए के सामान थे।

वैसे मामला यह भी धर्म का ही था पर हमने नीचे लिख दिया तो किसी को शायद आपत्ति न हो । चलिए इसी बहाने पता चला कि छत्तीसगढ़ में कोई कोरिया नाम का जिला भी है । छोटे मोटे देशों जैसे तो हमारे जिले ही हैं ।


और अंत में इस बुलेटिन के मुख्य-समाचार:


  • शुभम आर्य को द्वितीय महाताऊ श्री सम्मान से नवाजा गया है । उल्लेखनीय है कि प्रथम महाताऊ श्री सम्मान उड़नतश्तरी को मिला था .

  • फुरसतिया के ब्लॉग पर शादी डॉट कॉम का विज्ञापन लग गया है . उम्मीदवार लाभ उठा सकते हैं ।
  • अरविन्द मिश्र जी ने अपने स्वर्गीय पिताजी की अन्तिम कविता पेश करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी है ।
  • अपराधियों को टिकट देने के मामले में मनसे और सपा में काँटे का मुकाबला चल रहा है, बाजी किसके हाथ लगती है देखना रोचक रहेगा ।
  • वेरा पूरे आठ साल की हो गयी है ।

  • चलते-चलते

    अरे धर्म के ठेकेदारो !
    बात हमारी मानो यारो
    व्यर्थ विवादों में मत उलझो
    निजी मामलों को ही सुलझो
    चले गए जो धर्म चलाकर
    पूछो वापस उन्हें बुलाकर
    क्या उनका उद्देश्य यही था ?
    उनके मन में द्वेष कहीं था ?
    यह सुनकर वे चकरायेंगे
    तुमको झाड़ पिला जायेंगे


    29 टिप्‍पणियां:

    1. फुरसतिया के ब्लॉग पर शादी डॉट कॉम का विज्ञापन लग गया है . उम्मीदवार लाभ उठा सकते हैं|

      हम चले लाभ उठाने!! वैसे चर्चा जबरदस्त थी आज की|

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    2. बहुत दिन बाद आए .. अच्‍छी पोस्‍टों के लिंक्‍स लाए .. बहुत धन्‍यवाद !!

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    3. बढ़िया चर्चा । सारे लिंक खूबसूरत हैं । आभार ।

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    4. एक सतुलित चिट्ठाचर्चा

      बी एस पाबला

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    5. बहुत दिनों बाद मजेदार चिटठा चर्चा पढने को मिली | आभार विवेक जी |

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    6. ye hindu muslim kya chal raha hai blog jagat nmain...
      sabse zayada ye hi post pasand kiye ja rahe hai...
      blogvani aur chittha charcha main bhe dekh lein roz b roz....

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    7. बहुत बढिया चर्चा, शुभकामनाएं.

      रामराम.

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    8. शानदार कब्जा किया है जी। चर्चा पढ़कर मजे आ गये। जय बजरंगबली की।

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    9. चर्चा में यह बदलाव अच्छा लगा.. आप तो सक्षम हैं समझ सकने में.. याने इस चर्चा से किसे क्या आपत्ति हो सकती है.. :)

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    10. आप तो पुरे सप्ताह पर कब्जा कर ही लीजिये.. इसी बहाने दो शब्दों वाली टिप्पणिया एक लाईन में तो आने लगेगी.. झक्कास चर्चा

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    11. चिट्ठा चर्चा में सभी चर्चाएँ सटीक हैं।

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    12. पढ़ा, मेहनत की गयी है । चलिये, अच्छा है ।
      धन्यवाद !

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    13. @ धीरू सिंह
      बहुत बढ़िया धीरू सिंह जी !
      आज के समय में भी लोग धार्मिक असहिष्णुता को लेकर जी रहे हैं , अल्पमत को सहयोग और प्यार देना बेहद आवश्यक है , उनके मन से असुरक्षा की भावना दूर करने के लिए जो कुछ भी किया जाये, कम होगा ! यह तभी पूरा होगा जब समाज के सामान्य व्यक्ति आगे आयेंगे ! हमें यह समझना और समझाना होगा कि यह महान देश सिर्फ हमारा नहीं है बल्कि उन सबका है जो यहाँ पैदा हुए ! हमें, बहुमत के कारण, हर जाति एवं धर्मों को यह विश्वास दिलाना चाहिए कि देश पहले छोटे भाइयों का है बाद में हमारा और मेरा विश्वास है कि यही हिन्दू धर्म की महानता भी है !
      धार्मिक कट्टरता का विरोध अगर नहीं किया तो आने वाली पीढियाँ हमें कभी माफ़ नहीं करेंगी !

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    14. अच्छी चर्चा जी विवेक जी बस वही एक अंश के उल्लेख से खुद को रोकने का लोभ संवरण नहीं कर सके -मगर ठीक है जीवन्तता तो रहनी ही चाहिए !

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    15. @विवेक सिंह !
      पंगे लेते लेते बहुत अच्छा लिखना सीख गए हो, प्रभावित कर गयी आपकी चिटठा चर्चा ! अनूप शुक्ल जी की झलक दिख रही है , डटे रहो एकलव्य मगर गुरु से सावधान रहना , कहीं टंगडी ना मार दें ...
      बढ़िया शैली के लिए शुभकामनायें !

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    16. बहुर खूब। लाजवाब लगा अन्दाज आपका,।

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    17. धर्म और धरती ईश्वर की देन है। चाहें तो किसी मेंढ़क से पूछ लिजिए:)

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    18. बढिया धर्ममय चर्चा !!
      जय बजरंग बली !!

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    19. शादी डॉट कॉम का विज्ञापन पर किसी . उम्मीदवार की ऍप्लिकेशन ?......शुक्ल जी जरा टॉर्च मारेगे ?

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    20. बहुत बहुत बहुत ही शानदार चर्चा। कोई जवाब नहीं विवेक भाई।
      यह सुनकर वे चकरायेंगे
      तुमको झाड़ पिला जायेंगे
      वाह वाह क्या बात और कितने बेहतर ढंग से कह गए। हमारे दिल की बात पूरी कर दी आपने। मालिक आपकी मैक्ज़िमम मुराद पूरी करे।

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    चिट्ठा चर्चा हिन्दी चिट्ठामंडल का अपना मंच है। कृपया अपनी प्रतिक्रिया देते समय इसका मान रखें। असभ्य भाषा व व्यक्तिगत आक्षेप करने वाली टिप्पणियाँ हटा दी जायेंगी।

    नोट- चर्चा में अक्सर स्पैम टिप्पणियों की अधिकता से मोडरेशन लगाया जा सकता है और टिपण्णी प्रकशित होने में विलम्ब भी हो सकता है।

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