tag:blogger.com,1999:blog-16767459.post7123839341260852653..comments2023-09-21T18:12:30.204+05:30Comments on चिट्ठा चर्चा: पुस्तक चर्चा, टिप्पणी चर्चाdebashishhttp://www.blogger.com/profile/05581506338446555105noreply@blogger.comBlogger23125tag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-29091122581551798472009-04-29T11:35:00.000+05:302009-04-29T11:35:00.000+05:30समीरजी साढा-साति कि दशा तो शुरु हो ही गई , जब मेने...समीरजी साढा-साति कि दशा तो शुरु हो ही गई , जब मेने आप लोगो को तेल चढाया। ऐसे बेनामी शनि को तेल लगाना या तेल चढाना रास नही आ रहा है । कृपया कोई दुसरा ईलाज कि खोज करके रखीए नमस्कारMUMBAI TIGER मुम्बई टाईगरhttps://www.blogger.com/profile/12686479234497210080noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-46307851992890466502009-04-29T04:02:00.000+05:302009-04-29T04:02:00.000+05:30सब तरफ ऐसा तेल फैला कि फिसल ही गये और टिप्पणी करने...सब तरफ ऐसा तेल फैला कि फिसल ही गये और टिप्पणी करने में देर हो गई. क्या बताऐं भाई!! मुम्बई टाइगर को अब बेनामी शनि देव को तेल चढ़ाना चाहिये वरना साढ़े साती का एफेक्ट न हो जाये. :)Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-83130824838779219892009-04-29T03:05:00.000+05:302009-04-29T03:05:00.000+05:30श्री अनूपजी शुक्ल
टिप्पणी चर्चा मे आपने आज बडी ही...श्री अनूपजी शुक्ल<br />टिप्पणी चर्चा मे आपने आज बडी ही अच्छी जानकारी दी पंद्रह वर्षीय अबीर ने मार्कोपोलों पुस्तक की चर्चा कि। <br />आपने मुझे भी (मुम्बई टाईगर) चर्चा मे शामिल किया एवम मेरी पीठ थपथपाई, आपका शुक्रियाजी।<br />विशेष आ,रामपुरायाजी ने आपकी अदलात मे मेरा पक्ष रखा मै उनका भी आभारी हू। मुझे आपकि इस अदलात स न्याय मिला इसलिऐ आप सभी वशिष्ठजनो को प्रणाम करता हुआ- शुभ मगल॥<br /><br />हे MUMBAI TIGER मुम्बई टाईगरhttps://www.blogger.com/profile/12686479234497210080noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-45691921304624315092009-04-28T23:16:00.000+05:302009-04-28T23:16:00.000+05:30हुँह! क्या-क्या खोज लाते हैं आपभी। हम तो सनाका खा ...हुँह! क्या-क्या खोज लाते हैं आपभी। हम तो सनाका खा गये हैं यह सब पढ़कर।सिद्धार्थ शंकर त्रिपाठीhttps://www.blogger.com/profile/04825484506335597800noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-51162793720153214452009-04-28T21:11:00.000+05:302009-04-28T21:11:00.000+05:30hamesha ki tarah ek behtareen charchahamesha ki tarah ek behtareen charchaAlpana Vermahttps://www.blogger.com/profile/08360043006024019346noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-89095701684766980552009-04-28T20:45:00.000+05:302009-04-28T20:45:00.000+05:30"कबाड़खाना हिंदी ब्लाग जगत के बेहतरीन ब्लागों में ..."कबाड़खाना हिंदी ब्लाग जगत के बेहतरीन ब्लागों में से एक है।" यह वाक्य तो अपने आप ही में, एक-लाइना टाइप उलटबांसी हो कर चल निकला.निसंदेह यह एक बेहतरीन ब्लॉग है.Kajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टूनhttps://www.blogger.com/profile/12838561353574058176noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-42202575819075525772009-04-28T20:33:00.000+05:302009-04-28T20:33:00.000+05:30अशोक पाण्डेयजी ने इस पर कमेंट माडरेशन चालू किया। ...अशोक पाण्डेयजी ने इस पर कमेंट माडरेशन चालू किया। <br />-------<br />एक और शरीफ आदमी कमेण्ट मॉडरेशन की शरण में!Gyan Dutt Pandeyhttps://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-39601044147766377772009-04-28T17:15:00.000+05:302009-04-28T17:15:00.000+05:30तस्लीम पर तो न जाने कितनी पुस्तकों की चर्चा हो गयी...तस्लीम पर तो न जाने कितनी पुस्तकों की चर्चा हो गयी, कभी उधर भी कान दे देते।<br /><br />----------<br /><A HREF="http://sciblogindia.blogspot.com/" REL="nofollow">S.B.A.</A> <br /><A HREF="http://tasliim.blogspot.com/" REL="nofollow">TSALIIM.</A>adminhttps://www.blogger.com/profile/09054511264112719402noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-58064488575772531842009-04-28T14:25:00.001+05:302009-04-28T14:25:00.001+05:30बढ़िया चर्चा. टिप्पणी पर और भी बढ़िया चर्चा. 'टिचन...बढ़िया चर्चा. टिप्पणी पर और भी बढ़िया चर्चा. 'टिचन्न' की व्याख्या बहुत खूब रही.<br /><br />जहाँ तक मेरे द्बारा ठेले गए शेर की बात है तो हमें तो वह शेर हर बार महासचिव को देखते ही याद आता है. वैसे आपने शेर का भावार्थ गजब निकाला है.Shivhttps://www.blogger.com/profile/05417015864879214280noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-759808989513070432009-04-28T14:25:00.000+05:302009-04-28T14:25:00.000+05:30मुझे लगता है की ब्लॉग्गिंग में विवाद एक रेगुलर इंट...मुझे लगता है की ब्लॉग्गिंग में विवाद एक रेगुलर इंटरवल के बाद होता रहता है ! जो भी हो चर्चा से ही पता चला वर्ना अपना उस गली में आना जाना कम ही होता है. अरविन्दजी क्षमा चाहता हूँ आपकी शिव भैया वाली पोस्ट पर टिपण्णी बाद में देख पाया और यहाँ भी अभी देख रहा हूँ. जितना समझ में आया, आपको घर पहुच कर शाम तक ही मेल कर पाऊंगा :(Abhishek Ojhahttps://www.blogger.com/profile/12513762898738044716noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-16371283201897087102009-04-28T14:13:00.000+05:302009-04-28T14:13:00.000+05:30अनूप आप को
फुर्सत मिल जाये तो यहाँ भी देखे की आम ...अनूप आप को <br />फुर्सत मिल जाये तो यहाँ भी देखे की आम ब्लॉगर क्या कह रहा हैं टिपण्णी के बारे मे . वैसे आम ब्लॉगर की राय शायद ही कोई महत्व रखती हो पर फिर भी <A HREF="http://mypoeticresponse.blogspot.com/2009/04/blog-post_27.html" REL="nofollow"> आप टिप्पणी क्यूँ देते हैं ?</A>Rachna Singhhttps://www.blogger.com/profile/15393385409836430390noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-12245255023099263512009-04-28T13:06:00.000+05:302009-04-28T13:06:00.000+05:30अभी अभी अरविंद मिश्र जी का कमेंट देखा। जितना मुझे ...अभी अभी अरविंद मिश्र जी का कमेंट देखा। जितना मुझे मालूम है[मैं बाटनी का छात्र नहीं हूं] यह एक छोटा सा पौधा होता है जिसके पत्तों के नीचे आँख के आकार का फूल होता है। देखने में सुंदर होता है पर उसका नोटिस शायद इसलिए नहीं लिया जाता कि वह एक क्रोर्टन की तरह होता है। इस फूल को देखकर ही शायद ‘नर्गिसी आँखे’ मुहावरा चल पडा है॥चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-49885973151258486142009-04-28T12:59:00.000+05:302009-04-28T12:59:00.000+05:30चर्चा छोटी तो है लेकिन अच्छी रही।चर्चा छोटी तो है लेकिन अच्छी रही।PREETI BARTHWALhttps://www.blogger.com/profile/07147371640692507101noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-1117768054650519972009-04-28T12:58:00.000+05:302009-04-28T12:58:00.000+05:30शास्त्रीजी ने सही कहा है कि चर्चा छोटी सही पर रोज़ ...शास्त्रीजी ने सही कहा है कि चर्चा छोटी सही पर रोज़ होनी चाहिए। सच तो यह है कि कम्प्यूटर खोलते ही सब से पहले चिट्ठाचर्चा पर ही क्लिक करके देखने की आदत एक व्यसन का रूप ले लिया है:)<br /><br />"हमारे ब्लॉग की गरिमा हमारे लिए सर्वोपरि है " ...सही है, ब्लाग तो लिखने वाले का होता है. पर यदि कुछ अभद्र या अवांछित कमेंट हो तो उसे ब्लाग लिखने वाला का हिस्सा तो नहीं कहा जाएगा। अब यह ब्लाग के ओनर पर है कि उस चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-32546985217620931912009-04-28T12:55:00.000+05:302009-04-28T12:55:00.000+05:30कुछ और शंकाएँ दूर कर दें तो उपकार होगा -शिव भाई तो...कुछ और शंकाएँ दूर कर दें तो उपकार होगा -शिव भाई तो मौन ले लिए अब पूरी उम्मीद आपसे ही है .<br />क्या नर्गिस नाम का फूल अनाकर्षक होता है ? क्या आपने नर्गिस का फूल देखा है ? क्या हजारों साल में ऐसा भी होता है कभी कि यह सुन्दर /आकर्षक हो उठता है ? कोई लाख अपनी बेनूरी पर रोता रहे क्यों कोई दीदावर हो पैदा ? दीदावर तो किसी खास चाह को लेकर ही प्रगट होगा ? क्यों वह हजारो साल से किसी निस्तेज सी पडी चीज कोArvind Mishrahttps://www.blogger.com/profile/02231261732951391013noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-70091660835129644392009-04-28T12:17:00.000+05:302009-04-28T12:17:00.000+05:30प्रिय अनूप,
समय की कमी के बावजूद आज जो चर्चा प्रस...प्रिय अनूप,<br /><br />समय की कमी के बावजूद आज जो चर्चा प्रस्तुत की है उसके लिये आभार. <br />कई लोग चर्चा करने की सोचते रह जाते हैं, लेकिन कर नहीं पाते. कभी नहीं से कुछ न कुछ सही!! कारण यह है कि चिट्ठाचर्चा हिन्दी चिट्ठाजगत को एक परिवार के रूप में बांधने का महत्वपूर्ण कार्य कर रहा है.<br /><br />यदि सिर्फ एक पेराग्राफ लिखने का ही समय मिले तो भी लिख देना!! छोटी चर्चा के लिये हम शिकायत जरूर करेंगेShastri JC Philiphttps://www.blogger.com/profile/00286463947468595377noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-39097465940364202202009-04-28T12:16:00.000+05:302009-04-28T12:16:00.000+05:30चिट्ठा चर्चा केवल रोज प्काशित ब्लाग पोस्ट की चर्चा...चिट्ठा चर्चा केवल रोज प्काशित ब्लाग पोस्ट की चर्चा का मंच तो है नहीं, ब्लागिंग से जुड़े हर पहलू को यहां चर्चाया जा सकता है। <br />बढिया पोस्ट।अजित वडनेरकरhttps://www.blogger.com/profile/11364804684091635102noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-52923686242997354122009-04-28T09:52:00.001+05:302009-04-28T09:52:00.001+05:30चिट्ठा चर्चा पर की जाने वाली मेहन्त इसे गागर मे सा...चिट्ठा चर्चा पर की जाने वाली मेहन्त इसे गागर मे सागर साबित कर रही है।बधाई पूरी टीम को।Anil Pusadkarhttps://www.blogger.com/profile/02001201296763365195noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-48960931394591279102009-04-28T09:52:00.000+05:302009-04-28T09:52:00.000+05:30भूल सुधार :
नितय = नीयतभूल सुधार :<br /><br />नितय = नीयतताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-60839972871082887942009-04-28T09:50:00.000+05:302009-04-28T09:50:00.000+05:30फ़ुरसतियाजी, आज की चर्चा टिपणि केंद्रित भी है. और ...फ़ुरसतियाजी, आज की चर्चा टिपणि केंद्रित भी है. और मेरा भी नाम हे प्रभु...वाली पोस्ट मे शामिल है. मोडरेशन की बात भी उठी. पहले भी जब तब ऊठती रही है.<br /><br />मेरे हिसाब से हे प्रभु...वाले महावीर सेमलानी जी बहादुर हैं और बधाई के हकदार हैं जो उन्होने अपनी बात सबके सामने रखी है. और मुझे उनकी नितय मे कोई खोट नजर नही आता. <br /><br />वर्ना तो आप जानते हैं कि इस तरह की बेनाम टिपणीयों का स्तर क्या होता ताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-46836802935177166642009-04-28T09:34:00.000+05:302009-04-28T09:34:00.000+05:30तेल लगाया नहीं जी
पूरा ही तेल में डुबाया
अनामदास...तेल लगाया नहीं जी<br /><br />पूरा ही तेल में डुबाया<br /><br />अनामदास को बोलो<br /><br />वो भी डूबना चाहते हैं<br /><br />या थोड़ा सा तलवे में<br /><br />लगवाकर फिसलना।अविनाश वाचस्पतिhttps://www.blogger.com/profile/05081322291051590431noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-72547489756001524122009-04-28T09:15:00.000+05:302009-04-28T09:15:00.000+05:30किसी का किसी ब्लॉग को छोड़ना या लिखना उसकी अपनी पसं...किसी का किसी ब्लॉग को छोड़ना या लिखना उसकी अपनी पसंद है...पर मोडरेटर की व्यथा को आपने सही शब्द दिए हैं ..बाकि आज की चर्चा जरा छोटी थी कब शुरू कब खत्म पता ही न चला.L.Goswamihttps://www.blogger.com/profile/03365783238832526912noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-16767459.post-84111000603947500132009-04-28T09:08:00.000+05:302009-04-28T09:08:00.000+05:30ज्ञानवर्धक रही आज की चर्चा .ज्ञानवर्धक रही आज की चर्चा .डॉ. मनोज मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/07989374080125146202noreply@blogger.com