गुरुवार, सितंबर 08, 2005
अस्सी नब्बे पूरे सौ!
चर्चाकारः
debashish
हिन्दी ब्लॉगमंडल में हार्दिक स्वागत इन ६ नये चिट्ठों काः IIFM, भोपाल के छात्र भास्कर लक्षकर का संवदिया; लखनउ के निशांत शर्मा, समूह ब्लॉग कहकशां, यूवीआर का हिन्दी, मासीजीवी का शब्दशिल्प और रायबरैली के राहुल तिवारी का जी हाँ! और खुशी के बात यह भी है कि हिन्दी ब्लॉग संसार की संख्या आखिरकार प्रतीक्षित १०० की संख्या तक पहुँच ही गई। शत शत अभिनन्दन सभी चिट्ठाकारों का!
3 टिप्पणियां:
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पिछली प्रविष्टी के अनुसार समाजवाद का शटर डाउन हो गया है..यानि फिर ९९...शायद इसी को कहते है "९९ का फेर" ;)
जवाब देंहटाएं:: Nitin Bagla
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संख्या इसीलिये १०१ हो गयी है.यह संख्या वैसे भी जन्म लेने वाले चिट्ठों की है.जो बोल गये उनका हिसाब अभी होना शुरु नहीं हुआ.
:: अनूप शुक्ल
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एक सुझाव:नये चिट्ठे जब साइड बार में जोडें तो कृपया उन पर "new" या "नया" चिन्ह लगा दें ताकि उन्हें खोजने मे आसानी रहे
:: Nitin Bagla
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शतक पूरा होने पर हिन्दी चिट्ठाकारों को बधाईयां और इसके पात्र हैं सारे वो लोग जो कि दिलोजान से हिन्दी चिट्ठाकारी को प्रचलित बना रहे हैं।
:: आशीष
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नितिनः आपका सुझाव अच्छा है पर फिलहाल चि.वि. में यह सूची OPML फाईल से बनती है जिसमें यह जानकारी नहीं रहती कि ब्लॉग कब जोड़ा गया। पर भविष्य में यह सुझाव ज़रूर कार्यान्वित करना चाहुँगा।
:: देबाशीष
हमें भी ८०- ९० - १०० की खुशी में शरीक समझा जाए !!!
जवाब देंहटाएं4 साल बाद पढा लेकिन उतना ही मजा आया..
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