का साहेब, आप कहते हैं समय नहीं, तब ई रंगत का काज !! समय यदि मिल जावे तो का करियेगा महराज ?
महान चिट्ठाचर्चाकार दौड़ते-दौड़ते भी चर्चा करिए लेते हैं..ई चर्चा यही बात का ज्वलंत उदाहरण है.. कहते हैं न चोर चोरी से जावे, हेरा फ़ेरी से न जावे...:) ठीक उसी प्रकार चर्चा करे की जिसको लत लग जावे, ऊ वृहत चर्चा करे कि न करे..'दू-लाइना' से मुक्ति नहीये पाता है...:) ई चर्चा भी कौनो कम नहीं है... हाँ न...(फिल इन दी ब्लैंक्स :))
चिट्ठा चर्चा हिन्दी चिट्ठामंडल का अपना मंच है। कृपया अपनी प्रतिक्रिया देते समय इसका मान रखें। असभ्य भाषा व व्यक्तिगत आक्षेप करने वाली टिप्पणियाँ हटा दी जायेंगी।
नोट- चर्चा में अक्सर स्पैम टिप्पणियों की अधिकता से मोडरेशन लगाया जा सकता है और टिपण्णी प्रकशित होने में विलम्ब भी हो सकता है।
टिप्पणी: केवल इस ब्लॉग का सदस्य टिप्पणी भेज सकता है.
चर्चा करने के लिये समय नहीं कुछ आज
जवाब देंहटाएंपाठक गण सुन हर्षित हुए हर्षित ब्लॉग समाज
HARKHIT BLOG SAMAJ, MAN MOUJ KO AISE UCHKE...
हटाएंMISHIRJE KE NAHLE PE JAISE SUKULJI KE DAHLA CHIPKE...
PRANAM.
उम्दा चिट्ठा चर्चा
जवाब देंहटाएंजबर लिखा महाराज
जवाब देंहटाएंगज़ब.... गज़ब..
जवाब देंहटाएंका साहेब,
जवाब देंहटाएंआप कहते हैं समय नहीं, तब ई रंगत का काज !!
समय यदि मिल जावे तो का करियेगा महराज ?
महान चिट्ठाचर्चाकार दौड़ते-दौड़ते भी चर्चा करिए लेते हैं..ई चर्चा यही बात का ज्वलंत उदाहरण है..
कहते हैं न चोर चोरी से जावे, हेरा फ़ेरी से न जावे...:)
ठीक उसी प्रकार चर्चा करे की जिसको लत लग जावे, ऊ वृहत चर्चा करे कि न करे..'दू-लाइना' से मुक्ति नहीये पाता है...:)
ई चर्चा भी कौनो कम नहीं है...
हाँ न...(फिल इन दी ब्लैंक्स :))
:)
हटाएंसमय के अभाव में बहुत मेहनती दोहे . :)
जवाब देंहटाएंहमारे पास भी समय नहीं है आज हमने भी चिटठाचर्चा नहीं पढ़ा आज :)
जवाब देंहटाएं