दिहाड़ी
कल रात से बिजली गुल रही सो आज बस एक लाइना पेश हैं:
दिहाड़ी मिलना कठिन है क्या इस समय? : साइकिल पे आइये तब कुछ जानकारी मिल पायेगी।
आत्म-गहराई! : डूब गये भाई।
इस मोड़ से जाते हैं... ! : अगले पे मिलेंगे।
आईबी की ऊं फट हट : जित्ता समझा लिखा फ़ट फ़ट।
सूर्या ग्रहण और शिक्षा का स्तर: एक लेवेल पे आ गये कल।
अगर हम कहें और वो मुस्कुरा दें: दुआ है भगवान आपको गूंगा न बना दे।
और तब आप जीत जायेंगे : फ़िर वो आप पर हंसेंगे।
छिन्दवाड़ा के आसाराम बापू आश्रम के स्कूल में तीन बच्चों की मौत : बाकी कुछ कतार में हैं।
क्या व्यवस्था अव्यवस्था में से जन्म लेगी ?: आपै कुछ बतायें दिनेशजी।
मौका परस्त बनिये, मौज करिये।
सुदामा के सात सवाल: पंगेबाज ने उछाले।
मैं तकदी रही तेरा राह सजना: मतलब सजनी अपने सजना से तकादा करती है.......।
पहेली, क्या आप बातयेगे यह कोन सी मशहुर हस्ती हे ?: जानते हैं लेकिन बतायेंगे नहीं वर्ना पहेली बुझ जायेगी।
आपके घर में भी हो सकता है बम: घर में जब घुसें पुलिस बुला के घुसें।
चिंतन आस की किरण : चिंतित हुये हम।
हम शादी कब करेगे ?? : जब पूछा जायेगा तुमको क्या पसंद है।
ज़माना बदल गया ..........: लेकिन हमने अपने को वैसा ही रखा।
यह चिट्टा चर्चा पढ़ कर सुबह मुस्कान भरी हो जाती है :)
जवाब देंहटाएंमौका परस्त बनिये, मौज करिये।
इस मोड़ से जाते हैं... ! : अगले पे मिलेंगे।
"मैं तकदी रही तेरा राह सजना": मतलब सजनी अपने सजना से तकादा करती है.......।
जवाब देंहटाएंBrilliant!
मैं तकदी रही तेरा राह सजना": मतलब सजनी अपने सजना से तकादा करती है.......
जवाब देंहटाएंहा हा हा.. सही दबोचा है
हा हा हा हा हा हा
जवाब देंहटाएंहा हा हा हा हा हा
बहुत खूब.
जवाब नहीं आपका.
साइकल क्या खरीदें? भरतलाल की तो चोरी चली गयी!
जवाब देंहटाएंव्यवस्था अव्यवस्था में से ही जनमती है जी। बडे बडे विज्ञानियों ने यही बताया है।
जवाब देंहटाएंबहूत नाइन्साफ़ी है ..दुपहरिया से डाटावन वाले सता रहे हैं,
जवाब देंहटाएंअउर अब खुदै गुरु महाराज हमरे पँचयें पोज़ीशन पर डट गये ।
वैसे ज्ञानजी, मैं किसी को नहीं बताऊँगा कि भरतलाल के
मुँहलगेपन व आवारागर्दी से त्रस्त होकर रीता भउजी ने पीछे
वाले दालान में साइकिल छिपवा रखी है । यह भी न सोचा कि
माँगे जाँचे आपका भी काम निकल जाता था ।
सिर्फ़ आपको बता रहा हूँ ।